देश प्रेम पर कविता | देश भक्ति कविता शायरी Army Shayari
गीत : सिपाही भैया हमर (मैथिली)
सीमा पर तैनात, सभ सिपाही भैया हमर,
अपने देश लेल, बड़ कठिन काज करै छी,
देशवासी गर्व करैए, अपनेक वर्दी पर भैया,
जान पर खेल कए, देशक लाज रखै छी।
सीमा पर तैनात…
नहि चिंता करै छी कखनो बंदूक बम केर,
नहि अहां, सर्दी गर्मी केर परवाह करै छी,
भूख प्यासक ध्यान सेहो नहि रहैए भैया,
हमरा सभ अहां काज पर, नाज करै छी।
सीमा पर तैनात…
अहीं भरोसे, केओ आराम करैए घर मे,
आओर व्यापारी व्यापार करैए शहर मे।
वन पर्वत अहां केर रास्ता, जान हाथ मे,
अहीं केर दम पर, हम सभ राज करै छी।
सीमा पर तैनात…
छ: छ: मास अहां परिवार सं दूर रहै छी,
मनक दुःख भैया किनको स नहि कहै छी।
मौसम केर दर्द अहां दिन राईत सहै छी,
सेना पर राजनीति, हम ऐतराज करै छी।
सीमा पर तैनात…
हम सुतैत छी पलंग पर, अहां बर्फ कोड़ मे,
देशक सच्चा सपूत भैया, अहां टा लगै छी।
कुनो जवाब नहि, अहां केर साहस शौर्यक,
हम भारतवासी कष्ट केर, अंदाज करै छी।
सीमा पर तैनात…………..
सीमा पर तैनात, सभ सिपाही भैया हमर,
अपने देश लेल, बड़ कठिन काज करै छी,
देशवासी गर्व करैए, अपनेक वर्दी पर भैया,
जान पर खेल कए, देशक लाज रखै छी।
सीमा पर तैनात…
नहि चिंता करै छी कखनो बंदूक बम केर,
नहि अहां, सर्दी गर्मी केर परवाह करै छी,
भूख प्यासक ध्यान सेहो नहि रहैए भैया,
हमरा सभ अहां काज पर, नाज करै छी।
सीमा पर तैनात…
अहीं भरोसे, केओ आराम करैए घर मे,
आओर व्यापारी व्यापार करैए शहर मे।
वन पर्वत अहां केर रास्ता, जान हाथ मे,
अहीं केर दम पर, हम सभ राज करै छी।
सीमा पर तैनात…
छ: छ: मास अहां परिवार सं दूर रहै छी,
मनक दुःख भैया किनको स नहि कहै छी।
मौसम केर दर्द अहां दिन राईत सहै छी,
सेना पर राजनीति, हम ऐतराज करै छी।
सीमा पर तैनात…
हम सुतैत छी पलंग पर, अहां बर्फ कोड़ मे,
देशक सच्चा सपूत भैया, अहां टा लगै छी।
कुनो जवाब नहि, अहां केर साहस शौर्यक,
हम भारतवासी कष्ट केर, अंदाज करै छी।
सीमा पर तैनात…………..
देश भक्ति कविता शायरी Army Shayari
Desh Bhakti Shayari Mathili
सूबेदार कृष्णदेव प्रसाद सिंह,
नासिक (महाराष्ट्र)/
जयनगर (मधुबनी) बिहार
नासिक (महाराष्ट्र)/
जयनगर (मधुबनी) बिहार
भोजपुरी देश भक्ति गीत- भारत महान हो देशभक्ति शायरी भोजपुरी। Patriotic Shayari In Bhojpuri
भोजपुरी देश भक्ति गीत- भारत महान हो।
हमरा हउवे जेकरा पर गुमान हो।
उ त हउवे हमरो भारत महान हो।
लोहा माने जेकरा दुनिया जहान हो।
उ त हउवे हमरो भारत महान हो।
जनवा से बढ़िके के माने सब अपने देशवा।
भिन्न भिन्न जाती हउवे भिन्न बाटे भेषवा।
सिमवा पर डंटल हरदम हमरो जवान हो।
उ त हउवे हमरो भारत महान हो।
ऊंचा रे गगन फहरे मगन मोर तिरंगवा।
मारी के भगाई दिहले गोर फिरंगवा।
जनवा गवाई हमहु आपन हिंदुस्तान हो।
उ त हउवे हमरो भारत महान हो।
जान चली जाई देशवा शान न जाई।
कफन पहिन आई देशवा आन न जाई।
सबके हउवे अपने हिन्द अभिमान हो।
उ त हउवे हमरो भारत महान हो।
श्याम कुँवर भारती (राजभर)
कवि /लेखक /गीतकार /समाजसेवी
बोकारो झारखंड मोब -9955509286
0 टिप्पणियाँ