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दाद खाज खुजली की आयुर्वेदिक दवा | Home Remedy for Itchy Skin

Purane Se Purane Daad Ki Dawa | दाद को जड़ से खत्म करने की दवा

खुजली Urticaria(Introduction of Itching)

खुजली सुनने में साधारण सी लगने वाली यह बीमारी इंसान को सबसे ज्यादा परेशान करती है। कभी कभी तो खुजली कई रोगों के लक्षण के रूप में सामने आती है। कई बार यह बाहरी त्वचा (Skin) संबंधी किसी बीमारी का संकेत (signal) भी हो सकता है। कई बार व्यक्ति बिना खुजली के भी खुजलाता रहता है ऐसा अक्सर मानसिक तनाव के कारण होता है। क्या आपको पता है कि खुजली क्यों होती है और खुजली का इलाज (khujli treatment in hindi) क्या है? आयुर्वेद में मानव जिस्म(Human body) के साथ साथ सभी जीवित प्राणियों में होने वाले सभी रोग वात, पित्त और कफ का उपचार संभव है।आयुर्वेद चिकित्सा पद्धति में खुजली रोग का नाम कण्डु है।

आयुर्वेद के अनुसार खुजली रोग का मुख्य कारण वात और कफ का विकार  होता है। कफ में विकार (खराबी) होने पर वात की सामान्य प्रक्रिया में अवरोध पैदा हो जाने से खुजली की समस्या उत्पन्न हो जाती है। इसी प्रकार सिर्फ वात विकार की वजह बाहरी त्वचा (Skin) में सूखापन (Dryness) आता है जिसके कारण खुजलाहट होती है। आयुर्वेद में इसका उपचार करने के लिए कई प्रकार के घरेलू उपाय (Home remedies) भी सुझाए गए हैं। इन घरेलू उपायों Home remedies को अपनाकर खुजली Itching से मुक्ति मिल सकती है। तो चलिए जानते हैं कि खुजली के उपचार हेतु क्या-क्या उपाय Home remedies (khujli treatment in hindi) आयुर्वेद में सुझाएं गए हैं।

खुजली क्या है (What is Itching?)

बाहरी त्वचा (Skin) हमारे जिस्म(Human body) का सबसे बड़ा अंग (Biggest part of the Human body) होने के साथ-साथ सबसे संवेदनशील(most sensitive) भी होती है। अधिकांशतः बाहरी त्वचा (Skin) पर एलर्जी (Allergy) होने से खुजली हो जाती है। ऐसी हालत में पूरे दिन खुजली वाली जगह पर खुजलाते रहने का मन होता है, कभी कभार बेचैनी इतनी बढ़ जाती है कि आदमी ठीक से सो नहीं सकता और रात दिन खुजली से परेशान रहने लगता है इसे एक तरह का चर्मरोग (Skin disease) कहा जाता है। आमतौर पर खुजली किसी एक जगह पर या जिस्म(Human body) के किसी एक हिस्से में और पूरे जिस्म(Human body) या एक साथ कई भिन्न भिन्न हिस्सों में भी हो सकती है। खुजली की समस्या अधिकांशतः बाहरी त्वचा (Skin) में देखी जाती है। अलावा इसके ये किसी भी तरह के चर्मरोग (Skin disease) होने पर या फिर गर्भावस्था में भी प्रकट हो जाती है।

Purane se purane daad ki dawa-daad khaj khujli medicine name

खुजली के प्रकार (Types of Itching Disease)

मुख्य रूप से खुजली दो प्रकार की होती हैं, जो इस तरह हैंः-

साधारण खुजली या बिना दानों वाली खुजली : यह धूल-मिट्टी (Dust and dirt) प्रदूषण (pollution), गर्म कपड़ों(woolen clothes), धूप(sunlight) में ज्यादा समय तक रहने या किसी और अवांछित समस्या की वजह से भी हो सकती है।

दानों वाली खुजली : इस तरह की खुजली अधिकतर किसी संक्रमण(infection) की वजह से होती है।

खुजली की समस्या या खुजली बीमारी  के कारण (Causes of Itchy Skin)

खुजली होने के कई वजहें हो सकतीं हैं, जो इस प्रकार हैंः-
वायु प्रदूषण(Air pollution) और धूल-मिट्टी के सम्पर्क(contact of dust and dirt) में लंबे समय तक रहने की वजह से खुजली होने की संभावना बढ़ जाती है।

Dinai ki dawa, Home remedy for itching

कुछ लोगों को कई प्रकार के खाने पीने की चीजों से भी एलर्जी होती है ऐसी हालत में जब कभी भी लोग उस तरह के भोजन करते हैं जिससे एलर्जी होने की संभावना हो तो खुजली की परेशानी हो सकती है।
किसी-किसी दवा के साइड इफेक्ट या रिएक्शन (Side-effect) की वजह से भी खुजली हो सकती है।

सूखी,( Dry) बाहरी त्वचा (Skin) भी खुजली वजह है।

केमिकलयुक्त (chemical based beauty products are also responsible for itching) सौन्दर्य उत्पादों का अधिक प्रयोग करने से भी खुजली होती है।
केमिकलयुक्त हेयर डाई या हेयर कलर(chemical besed hair dye or hair colour) का प्रयोग करने भी खुजली हो सकती है।

मौसम में बदलाव के कारण।(Due to change in weather)

किसी तरह के कीड़े का काटना।(Insect bite)

ठण्डे मौसम(cold season or winter season) में बाहरी त्वचा (Skin) की नमी(moisture) सूख जाती है जिसकी वजह से खुजली की समस्या उत्पन्न हो सकती है।
अगर भोजन में वसा (Fat) उचित मात्रा में नहीं हो तो बाहरी त्वचा (Skin) सूख जाने से खुजली की समस्या हो सकती है।
धूम्रपान(smoking) करने वाले लोगों में खुजली की समस्या अधिक उत्पन्न हो सकती है। धूम्रपान (smoking) से निकोटीन शरीर में प्रवेश कर जाता है। जो मानव शरीर (Human body) को नुकसान पहुँचाता है।
जाड़े के दिनों में रूम हीटर(Room heater) की वजह से कमरे की नमी (moisture) समाप्त हो जाती है और बाहरी त्वचा (Skin) सूख) जाती है जिस कारण खुजली होती है।
परफ्यूम या इत्र (perfume) का बाहरी त्वचा (Skin) पर ज्यादा इस्तेमाल करना भी खुजली की वजह बन सकती है।
बाहरी त्वचा (Skin) के लिए कठोर डिटर्जेंट युक्त साबुन ( Hard detergent best bathing soap) का प्रयोग करना।

अधिक समय तक धूप में रहना।

जिस्म(Human body) या दूसरी जगहों पर जुओं की उपस्थिति।
किडनी(kidney) की बीमारी, आयरन की कमी ( lack of iron) या थायराइड ( Thyroid gland) की समस्या में भी खुजली हो सकती है।
मोटे कपड़े (Thick clothes), अत्यधिक गर्म कपड़े, बहुत गर्म पानी से स्नान (Hot water bathing) करने से भी होती है।
किसी-किसी मामले में विशेष गहनें से भी एलर्जी(allergy) हो सकती है जैसे किसी एक धातु की वजह से एलर्जी हो सकती है। जिससे खुजली होती है।
खुजली के कारण होने वाले बाहरी त्वचा (Skin) रोग (Disease Caused due to Itchy Skin)
खुजली के कारण लोगों में और भी कई बीमारियां हो सकती हैंः-

बाहरी त्वचा (Skin) में सूजन की समस्या (Dermatitis)

इसमें  बाहरी त्वचा (Skin) में सूजन आ जाती है।

एक्जिमा (Eczema) Dad Ki Ayurvedic Dawa

यह बाहरी त्वचा (Skin) की गंभीर बीमारी है। इसमें बाहरी त्वचा (Skin) में खुजली और लाल रंग के चकत्ते हो जाते हैं।

सोयरासिस (Psoriasis)

यह रोग प्रतिरोधक क्षमता (Autoimmune disorder ) में कमी के कारण होता है। इस कारण भी खुजली होती है।
पीलिया (Jaundice)

पीलिया रोग हो जाने पर भी खुजली की समस्या उत्पन्न जाती है

थायरॉइड ग्रन्थि में गड़बड़ी (Thyroidism)

थायरॉइड ग्रन्थि में विकार उत्पन्न होने पर भी खुजली की समस्या हो सकती है। थायरॉइड ग्रन्थि के विकारों की वजह से भी खुजली होती है।

खुजली (Itchy Skin) के इलाज में घरेलू उपचार (Home Remedy for Itchy Skin)

आयुर्वेदिक उपचार खास तौर से मानव शरीर (Human body) के विकारों को दूर कर रोग मुक्त करता है और उस बीमारी से छुटकारा (khujli treatment in hindi) दिलाने में सहायक होता है, जैसे खुजली से छुटकारा दिलाने में घरेलू उपचार (khujli ka gharelu ilaj) मदद करते हैं। इसलिए यह वात एवं कफ को प्राकृतिक अवस्था (natural state) में लाने से इससे मुक्ति मिल सकती है। एलोपैथिक दवाईयों या अंग्रेजी दवाइयों (Allopathic medicine) में रहने वाला स्टीरॉइड्स (steroid) खुजली को सिर्फ त्वचा के उपरी सतह (upper layer of skin) पर कुछ क्षण के लिए ठीक (khujli treatment in hindi) कर देता है। किसी संक्रमण इंफेक्शन (infection) या बाहरी जीव-जन्तुओं के काटने से होने वाली खुजली में भी आयुर्वेद में बताए गए लेप, और औषधियाँ  खुजली से छुटकारा (khujli ka gharelu ilaj) दिलाने में मदद करते हैं।

आयुर्वेदिक पद्धति से खुजली के उपचार और खुजली से छुटकारा चाहिए तो खुजली के रोगी को संयम और परहेज भी करना चाहिए जैसे प्रदूषण (Pollution) और धूल-मिट्टी से स्वयं को बचाना चाहिए। संक्रमित स्थानों और चीजों से जहां तक संभव हो दूर रहना चाहिए और साफ-सफाई का भरपूर ध्यान रखना चाहिए। अगर किसी ख़ास प्रकार के खाने पीने की चीजों  से एलर्जी है तो उसका सेवन न करना ही उचित होगा। खुजली के उपचार (khujli treatment in hindi) के लिए विभिन्न प्रकार के घरेलू नुस्खे प्रयोग में लाए जा सकते हैं, जो निम्न प्रकार हैं-

खुजली का इलाज करें आम के पेड़ से (Mango Tree Uses to Cure Itching)

25 ग्राम आम के पेड़ की छाल (25g Mango tree bark) और 25 ग्रा. बबूल के पेड़ की छाल (25g Acacia tree bark) को एक लीटर पानी में उबाल लें फिर इस पानी से खुजली वाले स्थान को देर तक मसल कर धो लें। फिर इस जगह को अच्छी तरह से साफ कर लें और सुती कपड़े से पोंछ कर सुखा लें फिर उस पर घी लगाएँ। खुजली से राहत पाने के लिए ये घरेलू इलाज कारगर साबित होगा। (khujli ka gharelu ilaj) खुजली के उपचार के लिए आप इस घरेलू उपचार को ट्राई करके देख सकते है।

गंधक से खुजली रोग का इलाज (Sulfur : Home Remedy for Itching Problem in Hindi)

खुजली वाले स्थान पर नारियल तेल में गंधक का चूर्ण मिलाकर लेप बनाकर लगाने से जल्द राहत मिलती है। दाद,खाज, खुजली के लिए घरेलू इलाज (khujli ka gharelu ilaj)बहुत फायदेमंद है।

एलोवेरा के प्रयोग से खुजली से छुटकारा (Aloe vera : Home Remedy to Cure Itchy Skin in Hindi)

सुबह सुबह खाली पेट 20-25 मिली लीटर एलोवेरा का जूस (Aloevera juice) पीने से हर एक तरह की त्वचा संबंधी बीमारियों और खुजली से राहत मिलती है।

एलोवेरा के गूदे के द्वारा खुजली का घरेलू इलाज (khujli ka gharelu ilaj) यह एक और बेहतर और कारगर इलाज है,एलोवेरा के गूदे (पल्प) को निकालकर बाहरी त्वचा (Skin) पर लगाएँ और 15 मिनटों के बाद गरम पानी से धो लें।

गिलोय का उपयोग दिलाता है खुजली से आराम (Giloy : Home Remedy for Itching in Hindi)

सुबह-शाम गिलोय (Use of Giloy juice) के रस का सेवन करने से भी खुजली और त्वचा संबंधी बीमारियां जड़ से खत्म हो सकती हैं। दाद खाज खुजली मिटाने में ये घरेलू इलाज (khujli ka gharelu ilaj) आजमाने पर काफी हद तक आराम मिल सकता है।

बेकिंग सोडा से दाद खाज खुजली का इलाज (Baking Soda is Beneficial in Itching in Hindi)

बेकिंग सोडा के इस्तेमाल से खुजली रोग से छुटकारा पाने के लिए बहुत कारगर तरीके आजमाए जा सकते हैं। (khujli treatment in hindi) नहाने के पानी में एक कप बेकिंग सोडा (Baking Soda) मिलाकर सूखी त्वचा (Dry Skin) को इससे धोएँ।

दशांग जड़ी-बूटी से खुजली का उपचार (Dasang Jari-Buti for Itchy Skin Treatment in Hindi)

दशांग लेप को आयुर्वेद की दस जड़ी-बूटियों के मिश्रण से तैयार किया जाता है। यह एक विशेष प्रकार से तैयार किया गया त्वचा पर लगाने वाली औषधि है जो खुजली से छुटकारा (khujli treatment in hindi) दिलाने में बहुत लाभदायक सिद्ध होता है।

नारियल तेल से करें खुजली का घरेलू उपचार (Coconut Oil Benefits in Itching in Hindi)

सूखी त्वचा (Skin) पर रोजाना सुबह-शाम नारियल तेल की मालिश करें।

ओटमील पाउडर से घर पर करें खुजली का इलाज (Oatmeal Powder : Home Remedy for Itching Problem in Hindi)

ओटमील पाउडर का खुजली में घरेलू इलाज (khujli ka gharelu ilaj) ओटमील पाउडर को पानी में मिलाकर गाढ़ा पेस्ट बना लें और रोजाना सुबह-शाम खुजली वाली त्वचा (Skin) पर लगाएँ।

तुलसी से खुजली का इलाज (Tulsi Help in Itching in Hindi)

8 से 10 तुलसी के पौधे की पत्तियों को पीसकर नारियल के तेल में मिलाकर खुजली वाले स्थान की त्वचा (Skin) की मालिश करें। ये घरेलू इलाज (khujli ka gharelu ilaj) बहुत ही प्रभावशाली और प्राचीन है।

नींबू से खुजली का उपचार (Lemon Benefits in Itching in Hindi)

ताज़ा नींबू के रस को खुजली वाली त्वचा पर लगाकर 10 से 15 मिनटों तक मालिश करें फिर गुनगुने पानी से धो लें। ऐसा कुछ दिनों तक करते रहने से दाद खाज खुजली हमेशा के लिए ठीक हो जाती है।

नीम के पत्तों से खुजली का इलाज (Benefits of Neem in Itching in Hindi)

नीम की पत्तियों को बारीक पीसकर खुजली वाली जगह पर लगाने से जल्द राहत मिलती है। त्वचा संबंधी बीमारियों से निजात पाने का ये तरीका (khujli treatment in hindi) बहुत पुराना है।

नीम का तेल कैसे बनाएं | नीम का तेल बनाने का सही तरीका

नीम का तेल बनाने की विधि : नीम की ताज़ा छाल, चिरायता, देसी हल्दी, लाल चन्दन, हरड़, बहेड़ा, आँवला एवं अड़ूसे की पत्तियां, सभी को एक बराबर मात्रा में • तिल्ली का तेल जरूरत भर। सभी आठों द्रव्यों को 6 से 7 घंटे तक जल में डालकर छोड़ दें फिर निकाल लें और महीन पीसकर कल्क बना लें।

पीठी से चार गुणा अधिक मात्रा में तिल का तेल एवं तेल से चार गुणा अधिक मात्रा में जल मिलाकर एक बरतन में डाल दें और धीमी आंच पर आंच पर पकने दें ताकि पानी जल जाए केवल तेल बाकी रह जाए। इस तेल को ठंडा कर लें और शीशी में रख लें। 

प्रयोग विधि | नीम के तेल का इस्तेमाल कैसे करें

जिह जगह पर भी खुजली हो, दाद हो या फिर पूरे शरीर पर इसी तेल से दिन में दो-तीन बार मलिश करें। यह तेल बहुत लाभदायक है। जबतक खुजली ख़त्म न हो जाए तब तक इस घरेलू उपचार को जारी रखें और मालिश करते रहें, मालिश नहाने से पहले या सोते समय करें जो ज्यादा लाभ मिलता है।

शीशम के बीज से खुजली का उपचार (Shisham is a Herb in Itching Problem in Hindi)

सीसम के बीजों के तेल को खुजली वाली त्वचा (Skin) एवं प्रभावित जगहों पर लगाएँ।

चंदन के प्रयोग से खुजली को ठीक करना (Chandan : Home Remedy for Itching in Hindi)

खुजली से छुटकारा और सुंदर मुलायम त्वचा पाने के लिए खुजली वाले स्थान पर चन्दन का तेल लगाना चाहिए। यह घरेलू इलाज बहुत लाभदायक है (khujli ka gharelu ilaj) इस घरेलू नुस्खे को दादी-नानी भी आजमाते थे।

खुजली रोग से बचाव के लिए आहार (Foods in Itching Problem)

जिन लोगों को दाद खाज खुजली की समस्या है और खुजली से छुटकारा पाना चाहते हैं, उन्हें इन खुजली रोधी आहार का सेवन करना चाहिए जिससे खुजली में आराम मिलेगा। खुजली होने पर घरेलू इलाज (khujli ka gharelu ilaj) के साथ आहार और विहार पर भी ध्यान रखने की आवश्यकता होती है।

केले का करें भरपूर सेवन

केला पोटेशियम से भरपूर होता है। इसके साथ-साथ केला में हिस्टामाइन (Histamine) की मात्रा को घटाने वाले पोषक तत्व (vitamins minerals and nutrients) मैग्नेशियम (magnesium) और विटामिन सी (vitamin c) भी होता है।

अलसी, कद्दू, तिल और सूरजमुखी के बीजों से लाभ मिलता है।

अलसी, कद्दू, तिल और सूरजमुखी के बीजों में पाये जाने वाले महत्वपूर्ण फैटी एसिड fatty acid इस रोग में लाभ दे सकते हैं। ये फैटी एसिड (fatty acids) त्वचा (Skin) की खुजली को ठीक करने में सहायक है।

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