Mohabbat Wali Shayari
Mohabbat Se Bhari Hui Hindi Shayari
शिकायत
मोहब्बत गजल शायरी
बदला मेरे सलाम का,मोहब्बत से दीजिये-3
ये फूल मेरे इश्क का,रूसवा न कीजिये।
ये फूल मेरे इश्क का,रूसवा न कीजिये।
पी-पी के प्याले गम के,हम खुद संभल गये-3
होकर हमारे आप अब,एहसान कीजिये।
यूं गर्दिशों में जिंदगी, कुछ ऐसे गुजर गयी-3
ये चराग मोहब्बत के अब,जलने तो दीजिये।
मुद्दत के बाद अब खिले,गुलशन बहार के -3
बारिश में अपने प्यार की,भींगा हीं दीजिये।
खुशबू फिजाओं में जरा,बिखर तो जायें अब-3
बस रंग अपने हुश्न की,मिला तो दीजिये।
प्रीतम कुमार झा
महुआ, वैशाली, बिहार
होकर हमारे आप अब,एहसान कीजिये।
यूं गर्दिशों में जिंदगी, कुछ ऐसे गुजर गयी-3
ये चराग मोहब्बत के अब,जलने तो दीजिये।
मुद्दत के बाद अब खिले,गुलशन बहार के -3
बारिश में अपने प्यार की,भींगा हीं दीजिये।
खुशबू फिजाओं में जरा,बिखर तो जायें अब-3
बस रंग अपने हुश्न की,मिला तो दीजिये।
प्रीतम कुमार झा
महुआ, वैशाली, बिहार
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